पहले कराटे में जलवा, अब उड़ाएंगी बोइंग 777 जम्बो प्लेन, महिला पायलट का जलवा

पहले अंतरराष्ट्रीय कराटे चैंपियनशिप में भारत का प्रतिनिधित्व और अब बोइंग 777 जम्बो विमान उड़ाने के लिए तैयार है राजस्थान की बेटी टीना सिंघल. यह कहानी भले सुनने में फिल्मी लग रही हो लेकिन ये कहानी असली है. जिसे सुनकर आप सीना गर्व से चौड़ा हो जाएगा.

राजस्थान के सिरोही जिले की बेटी टीना सिंघल ने न केवल अंतरराष्ट्रीय कराटे चैंपियनशिप में भारत का प्रतिनिधित्व किया है बल्कि अब वह एयर इंडिया में कैप्टन के पद पर कार्यरत हैं. देश की सबसे बड़ी एयरलाइंस में से एक बोइंग 777 जैसे जम्बो विमान उड़ाने वाली राजस्थान की पहली महिला पायलट हैं.

यह विमान दुनिया का सबसे बड़ा ट्विन-जेट विमान माना जाता है, और टीना ने इसके उड़ान में महत्वपूर्ण एक्सपीरियंस लिया है. जिसमें हज यात्रा के प्लेन उड़ाने और अंतरराष्ट्रीय स्तर की लंबी उड़ानों का संचालन शामिल है.

टीना सिंघल का सफर

टीना का सफर आबूरोड के एक छोटे से शहर से शुरू हुआ और आज वह दुनियाभर में उड़ान भर रही हैं. टीना का जन्म आबूरोड में हुआ था. उनके पिता एक वकील थे और उनके पति भी दिल्ली में जाने-माने वकील हैं.
टीना ने माउंट आबू के सोफिया हाई स्कूल और एचजी इंटरनेशनल स्कूल से 12वीं तक की पढ़ाई पूरी की है. जिसके बाद वह अहमदाबाद में पढ़ाई के लिए गईं और फिर पायलट बनने की तैयारी के लिए अमेरिका गईं.

टीना पढ़ाई में अव्वल थीं और उन्होंने कराटे में भी सिरोही का नाम रोशन किया. वह कराटे में ब्लैक बेल्ट हैं और उन्होंने 2000 और 2002 में मलेशिया और टोकियो में हुई कराटे चैंपियनशिप में भारत का प्रतिनिधित्व किया.

पायलट बनने का सफर

टीना का पायलट बनने का सफर आसान नहीं था. उन्होंने कहा कि छोटे शहर से पायलट बनने का सफर मुश्किल था लेकिन असंभव नहीं. उनके अनुसार, किसी भी लक्ष्य को पाने के लिए मेहनत और संघर्ष करना आवश्यक है. आपको अपने कम्फर्ट जोन से बाहर आना ही पड़ेगा.

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पायलट की जिंदगी संघर्ष और चुनौतियों से भरी होती है, जहां उन्हें यात्रियों की जान की जिम्मेदारी के साथ-साथ अपने परिवार की देखभाल भी करनी होती है.

कोरोना महामारी के दौरान योगदान

टीना ने कोरोना महामारी के दौरान भी महत्वपूर्ण भूमिका निभाई. जब लोग अपनी जान बचाने के लिए घरों में कैद थे तब टीना ने अन्य देशों से भारत में दवाइयां और मेडिकल उपकरण पहुंचाने का काम किया. इस दौरान फ्लाइट के अलावा घर पर भी पूरी सुरक्षा सुनिश्चित करनी होती थी ताकि परिवार में कोई इस वायरस से संक्रमित न हो.

हज यात्रा की फ्लाइट के बारे में टीना ने बताया कि यह हर पायलट के लिए बड़ी उपलब्धि होती है, क्योंकि इसमें जिम्मेदार और अनुभवी पायलट को ही भेजा जाता है.

महिलाओं के लिए संदेश

टीना ने पायलट बनने की इच्छा रखने वाली महिलाओं को संदेश देते हुए कहा कि यह फील्ड जितना दिखने में चकाचौंध भरा लगता है उतनी ही इसमें मेहनत और लगन की आवश्यकता होती है. इस क्षेत्र में लगातार पढ़ाई और डेडिकेशन की जरूरत होती हैय लेकिन यह फील्ड महिलाओं के लिए सुरक्षित है और इसमें अच्छे अवसर भी हैं. टीना ने कहा कि महिलाओं को इस क्षेत्र में आगे बढ़ने के लिए खुद पर विश्वास और धैर्य रखना चाहिए.

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