गलवान में पीछे हटी चीनी सेना, मगर रॉकेट की रफ्तार से देश में आया चाइनीज माल

नई दिल्ली. भारत का चीन को निर्यात अगस्त महीने में 22.44 प्रतिशत घटकर एक अरब डॉलर रहा जबकि आयात 15.55 प्रतिशत बढ़कर 10.8 अरब डॉलर पहुंच गया. वाणिज्य मंत्रालय के आंकड़ों के अनुसार चालू वित्त वर्ष में अप्रैल-अगस्त के दौरान चीन को निर्यात 8.3 प्रतिशत घटकर 5.8 अरब डॉलर रहा, जबकि आयात 10.96 प्रतिशत बढ़कर 46.65 डॉलर हो गया. इससे व्यापार घाटा बढ़कर 35.85 अरब डॉलर हो गया. यह खबर ऐसे समय में आई जब कुछ दिन भारत-चीन की सीमा पर चीनी सैनिकों के पीछे हटने की खबरें आई थीं.

अगस्त में अमेरिका, संयुक्त अरब अमीरात (यूएई), सिंगापुर, बांग्लादेश, ऑस्ट्रेलिया, दक्षिण अफ्रीका, फ्रांस, नेपाल, बेल्जियम और तुर्की को होने वाले निर्यात में भी गिरावट आई. इस दौरान यूएई, स्विट्जरलैंड, दक्षिण कोरिया, जापान, थाईलैंड, वियतनाम और ताइवान से आयात में वृद्धि हुई है.

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आंकड़ों के अनुसार, अगस्त में भारत का अमेरिका को निर्यात 6.29 प्रतिशत घटकर 6.55 अरब डॉलर जबकि आयात 6.3 प्रतिशत घटकर 3.82 अरब डॉलर रहा. चालू वित्त वर्ष में अप्रैल-अगस्त के दौरान अमेरिका को निर्यात 5.72 प्रतिशत बढ़कर कुल 34 अरब डॉलर हो गया, जबकि आयात 3.72 प्रतिशत बढ़कर 19 अरब डॉलर रहा. इससे ट्रेड सरप्लस 15 अरब डॉलर रहा.

इसी तरह अगस्त में रूस से देश का आयात लगभग 40 प्रतिशत घटकर 2.57 अरब डॉलर रहा. वहीं कच्चे तेल के आयात के कारण अप्रैल-अगस्त 2024-25 के दौरान आयात 6.39 प्रतिशत बढ़कर 27.35 अरब डॉलर रहा. अमेरिका पिछले वित्त वर्ष (2023-24) में भारत का सबसे बड़ा व्यापार भागीदार था. उसके बाद चीन का स्थान था. चीन 2013-14 से 2017-18 और 2020-21 में भारत का सबसे बड़ा व्यापार भागीदार था. चीन से पहले यूएई देश का सबसे बड़ा व्यापार भागीदार था। अमेरिका 2021-22 और 2022-23 में सबसे बड़ा व्यापार भागीदार था.

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