दुनिया का सबसे बड़ा फंड मैनेजर डालेगा देश के सबसे बड़े IPO में पैसा, कैसा चल रहा जीएमपी?

नई दिल्ली. हुंडई इंडिया मोटर जल्द ही देश का अब तक का सबसे बड़ा आईपीओ लॉन्च करने वाली है. एंकर निवेशकों के लिए यह आईपीओ 14 अक्टूबर को खुलेगा, जबकि सामान्य निवेशक 15 अक्टूबर से बोली लगा सकेंगे. इस आईपीओ के जरिए कंपनी का लक्ष्य 25,000 करोड़ रुपये से अधिक जुटाने का है, और यह पूरी तरह से ऑफर फॉर सेल (OFS) होगा. इस आईपीओ का खास निवेशकों के बीच भी काफी उत्साह है. ब्लैकरॉक इंक, जीआईसी सिंगापुर, और कैपिटल ग्रुप जैसे दिग्गज संस्थान भी इसमें दिलचस्पी दिखा रहे हैं.

ब्लैकरॉक के सीईओ लैरी फिंक के नेतृत्व में यह कंपनी दुनिया की सबसे बड़ी एसेट मैनेजमेंट कंपनी मानी जाती है, जो 10 ट्रिलियन डॉलर से ज्यादा के एसेट्स का प्रबंधन करती है. यह भारत की जीडीपी का ढाई गुना है और वैश्विक शेयर बाजार में इसका बड़ा प्रभाव है. रिपोर्ट्स के अनुसार, ब्लैकरॉक और जीआईसी के अलावा भी कई अन्य घरेलू और विदेशी संस्थागत निवेशक इस आईपीओ में शामिल होने की योजना बना रहे हैं.

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हुंडई इंडिया की यह पेशकश 17.5% हिस्सेदारी की है यानी कंपनी 142.2 मिलियन शेयर बेचेगी, जिससे कंपनी की कुल वैल्यू $19 अरब के करीब आंकी जा रही है. इस आईपीओ का प्राइस बैंड 1,865 रुपये से 1,960 रुपये के बीच तय किया गया है. हालांकि, ग्रे मार्केट में इसे लेकर उत्साह नहीं नजर आ रहा है. जानकारों के अनुसार, इसका ग्रे मार्केट प्रीमियम हाल ही में 50% से ज्यादा गिर गया है.

हुंडई का यह कदम कंपनी के लिए भारत में अपनी बाजार हिस्सेदारी और उपस्थिति को मजबूत करने का एक प्रमुख प्रयास है. इस आईपीओ के जरिए जुटाई गई राशि से कंपनी को अपने विस्तार और संचालन को नई दिशा में ले जाने में मदद मिलेगी. इसके साथ ही, यह निवेशकों के लिए भी आकर्षक अवसर साबित हो सकता है, खासकर उन लोगों के लिए जो ऑटोमोटिव सेक्टर में निवेश करने की इच्छा रखते हैं.

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