नई दिल्ली. बीते हफ्ते शेयर मार्केट में कंसोलिडेशन देखने को मिला. इस दौरान निफ्टी 50 अंक या 0.20 फीसदी गिरकर 24,964 और सेंसेक्स 307 अंक या 0.38 फीसदी गिरकर 81,381 पर बंद हुआ. भारतीय शेयर बाजार के लिए अगला हफ्ता काफी अहम होने वाला है. कंपनियों की ओर से घोषित किए जाने वाले वित्त वर्ष 2024-25 की दूसरी तिमाही के नतीजे, खुदरा और थोक महंगाई के डेटा बाजार की चाल को प्रभावित करेंगे. इसके अलावा कच्चे तेल की कीमत में उतार-चढ़ाव, डॉलर इंडेक्स की चाल और फॉरेन इंस्टीट्यूशनल इन्वेस्टर्स (FII) की गतिविधियों का असर भी शेयर बाजार पर देखने को मिल सकता है.
बीते हफ्ते एफआईआई की ओर से करीब 28,000 करोड़ रुपये के शेयरों बिक्री की गई थी. इस दौरान डोमेस्टिक इंस्टीट्यूशनल इन्वेस्टर्स (DII) की ओर से 31,000 करोड़ रुपये से ज्यादा का निवेश किया गया.
24,440 के लेवल पर जा सकता है निफ्टी
स्वास्तिका इन्वेस्टमार्ट के रिसर्च हेड संतोष मीणा का कहना है कि अगले ग्लोबल लेवल पर अमेरिका, जापान, चीन और यूरोप से आने वाले डेटा का बाजार पर सीधा असर देखने को मिल सकता है. उन्होंने आगे कहा कि निफ्टी का छोटी अवधि का बॉटम लेवल 24,750 है. निफ्टी में दोबारा से बड़ी तेजी 25,330 और 25,500 का लेवल तोड़ने के बाद ही आएगी. अगर निफ्टी 24,750 के लेवल को तोड़ता है तो यह 24,440 और 24,100 के लेवल पर जा सकता है.
52,200 के लेवल पर जा सकता है बैंक निफ्टी
मास्टर कैपिटल सर्विसेज लिमिटड की डायरेक्टर पल्का अरोड़ा चोपड़ा ने कहा कि बैंक निफ्टी एक सीमित दायरे में कारोबार कर रहा है. मौजूदा समय में इसका सपोर्ट 50,600 पर है. अगर यह लेवल टूटता है तो 50 हजार तक स्तर देखने को मिल सकता है. बैंक निफ्टी के लिए 51,700 एक अहम रुकावट का लेवल होगा. अगर यह इसे तोड़ता है तो 52,200 तक के लेवल देखने को मिल सकते हैं. इसमें निवेशकों को गिरावट पर खरीदारी की स्ट्रैटेजी को अपनाना चाहिए.
Tags: Share market, Stock market
FIRST PUBLISHED : October 13, 2024, 15:50 IST