YouTube: हाल ही में YouTube को एक बड़ी गलती के कारण काफी आलोचनाओं का सामना करना पड़ा, जिसमें कई अकाउंट्स को गलती से बैन कर दिया गया और कई चैनल्स को ‘स्पैम’ गतिविधियों के लिए हटा दिया गया. इस घटना ने खासतौर पर यूट्यूब के उन यूज़र्स को काफी चिंता में डाल दिया जो अपना जीवनयापन यूट्यूब प्लेटफॉर्म के जरिए ही करते हैं.
यूट्यूब से हुई गलती
यूट्यूब से कई अकाउंट्स को गलती से बैन कर दिए जाने से यूट्यूब की ऑटोमैटिक मॉडरेशन सिस्टम की प्रभावशीलता और निष्पक्षता पर सवाल उठाए जा रहे हैं. जब यूट्यूब के इस सिस्टम के कई क्रिएटर्स के यूट्यूब चैनल को स्पैम गतिविधियों के लिए बैन कर दिया गया तो यूट्यूब के क्रिएटर्स ने पाया कि उनके चैनल को बिना किसी कारण बैन कर दिया गया है.
इसके लिए उन्हें न कोई चेतावनी मिली और न कोई स्पष्टीकरण मिला. इन प्रभावित क्रिएटर्स की लिस्ट में छोटे क्रिएटर्स से लेकर कई जाने-माने क्रिएटर्स तक के यूट्यूब चैनल्स शामिल हैं. इन सभी प्रभावित लोगों ने तुरंत सोशल मीडिया पर अपनी आवाज़ उठाई और यूट्यूब से अपनी शिकायत दर्ज कराई.
YouTube की प्रतिक्रिया
इस उथल-पुथल के जवाब में, यूट्यूब ने सार्वजनिक रूप से माफी मांगी है. यूट्यूब ने गलती को स्वीकार करते हुए, स्थिति को जल्दी से सुधारने का वादा किया है. कंपनी ने कहा कि वे प्रभावित अकाउंट्स और चैनल्स को बहाल करने के लिए कड़ी मेहनत कर रहे हैं, और भविष्य में ऐसी गलतियों को रोकने के लिए अपने मॉडरेशन प्रक्रियाओं की समीक्षा करेंगे. यूट्यूब ने इसपर भी जोर दिया कि वे पारदर्शिता के प्रति प्रतिबद्ध हैं और अपने सभी उपयोगकर्ताओं के लिए एक संतुलित और निष्पक्ष प्लेटफार्म बनाए रखने के महत्व को समझते हैं.
क्रिएटर्स पर प्रभाव
कई क्रिएटर्स के लिए, इस घटना ने यूट्यूब की वर्तमान कंटेंट मॉडरेशन सिस्टम की कमजोरियों को उजागर किया है. क्रिएटर्स न केवल अपने कंटेंट को साझा करने के लिए, बल्कि आय के प्राथमिक स्रोत के रूप में भी इस प्लेटफार्म पर निर्भर हैं. उनके चैनल्स के अचानक हटने से वित्तीय और भावनात्मक तनाव पैदा हुआ है. कुछ क्रिएटर्स ने हजारों सब्सक्राइबर्स खो दिए और उनके चैनल्स दोबारा बहाल होने पर भी अपने दर्शकों का विश्वास फिर से हासिल करने में मुश्किलों का सामना करना पड़ सकता है.
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